Latest News

मुंबई : आईबी की टिप पर गुजरात और महाराष्ट्र एटीएस ने एक संयुक्त ऑपरेशन में रविवार रात 1993 ब्लास्ट के एक आरोपी मुनाफ हलारी मूसा को मुंबई इंटरनैशनल एयरपोर्ट पर गिरफ्तार किया है। उसके पास एक पाकिस्तानी पासपोर्ट भी मिला है। जांच एजेंसियों का कहना है कि वह इसी पासपोर्ट पर दुबई जा रहा था। पिछले महीने गुजरात एटीएस और कोस्ट गार्ड ने कच्छ के पास समुद्र में एक बोट पकड़ी थी, जिसमें 35 पैकेट ड्रग्स के मिले थे। उस केस में पांच पाकिस्तानियों को गिरफ्तार किया गया था। उनसे पूछताछ में मुनाफ का नाम सामने आया था। जांच एजेंसियों को इन आरोपियों से मुनाफ का पासपोर्ट नंबर भी मिल गया था। इस नंबर को देश के सभी एयरपोर्ट पर भेजकर उसके खिलाफ लुकआउट नोटिस जारी कर दिया गया था। उसी में मुनाफ रविवार रात पकड़ा गया।

गुजरात एटीएस के अनुसार, मुंबई के 1993 के ब्लास्ट में उसके खिलाफ सीबीआई ने रेड कॉर्नर नोटिस भी जारी किया था, लेकिन तब भी वह कानून की गिरफ्त में नहीं आया था। कुछ साल पहले भारत सरकार ने पाकिस्तान को 50 मोस्ट वॉन्टेड आरोपियों की सूची सौंपी थी, जो पाकिस्तान में रह रहे हैं। उसमें भी उसका नाम था। एक अधिकारी के अनुसार, मुनाफ 1993 बम ब्लास्ट के मुख्य साजिशकर्ता टाइगर मेमन का बहुत खास है। टाइगर ने ही पाकिस्तानी अधिकारियों की मदद से अनवर मोहम्मद के नाम से उसका पाकिस्तानी पासपोर्ट बनवाया था, जिसका नंबर BM1799983 है। इस पहचान पर उसने नरोबी, केन्या में शरण ली हुई थी। नरोबी में उसने पहले अलग बिजनेस किया। बाद में टाइगर मेमन के कहने पर चावल के आयात-निर्यात का भी धंधा किया। उसी दौरान वह भारत में हथियार और विस्फोटकों की तस्करी भी करवाता रहा। यही नहीं, वह ड्रग्स की सप्लाई का भी प्रमुख सूत्रधार बन गया।

पिछले महीने गिरफ्तार पांच पाकिस्तानी आरोपियों के पूछताछ में गुजरात में पकड़े गए 35 ड्रग्स के पैकेट मुनाफ ने कराची के किसी हाजी हसन के कहने पर भिजवाए थे। हाजी की मुनाफ से जब बातचीत इंटरसेप्ट की गई, तो पता चला कि उसने मुनाफ से समुद्र के रास्ते विस्फोटक भिजवाने का भी वादा किया था। जांच अधिकारियों के अनुसार, 1993 के ब्लास्ट के बाद मुनाफ दो बार भारत आ चुका था। रविवार की गिरफ्तारी से पहले वह आखिरी बार साल, 2014 में अटारी बॉर्डर से भारत में घुसा था और काफी समय मुंबई में भी रहा था। उसके पास से जो पाकिस्तानी पासपोर्ट जब्त किया गया, पाकिस्तान में उसे दो बार रिन्यू किया जा चुका है।

उससे पूछताछ में पता चला कि 1993 के ब्लास्ट के लिए उसने तीन स्कूटर असगर अली नामक एक स्कूटर डीलर से खरीदे थे जिनके नंबर थे, MH 05 TC 29, MH05 TC 16 और MH 04 Z TC 261, इन सभी स्कूटरों में विस्फोटक भर कर उन्हें 12 मार्च, 1993 को मुंबई में अलग-अलग जगह खड़ा किया गया था। इनमें से एक स्कूटर में रखा बम जबेरी बाजार में फटा था, जबकि दो स्कूटर दादर में नायगांव क्रॉस रोड पर जब्त किए गए थे। जांच में पता चला कि मुनाफ ने अपने किसी मित्र राशिद से 70 हजार रुपये का लोन लेकर ये स्कूटर खरीदे थे। जब राशिद ने बाद में इन रुपयों का बकाया मांगा, तो ऐसा कहा पता चला है कि उसने यह कहकर रकम देने से मना कर दिया कि हिम्मत हो, तो टाइगर मेमन से रकम मांगे। राशिद को चुप रहने की सलाह देकर मुनाफ यूपी में बरेली शहर भाग गया था। बाद में वह अलग-अलग रास्तों से बैंकॉक चला गया था।


Weather Forecast

Advertisement

Live Cricket Score

Stock Market | Sensex

Advertisement