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मुंबई : महाराष्ट्र के स्वास्थ्य मंत्री राजेश टोपे ने कहा कि केंद्र ने महाराष्ट्र को कर्नाटक से तरल चिकित्सकीय ऑक्सीजन की आपूर्ति में 50 मीट्रिक टन की कमी कर दी है और इस कदम का कोविड​​-19 रोगियों के उपचार पर गंभीर प्रभाव पड़ेगा. टोपे ने कहा कि महाराष्ट्र को तरल चिकित्सकीय ऑक्सीजन की आपूर्ति में कमी का मुद्दा केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के समक्ष उठाया जाना जरूरी है. उन्होंने कहा कि देश में कोविड-19 के सर्वाधिक मरीज महाराष्ट्र में उपचाराधीन हैं.

टोपे ने यहां संवाददाताओं से कहा कि केंद्र सरकार ने कर्नाटक से महाराष्ट्र को तरल चिकित्सकीय ऑक्सीजन के आवंटन में 50 टन की कमी कर दी. उन्होंने कहा, ‘‘इसका महाराष्ट्र में कोविड-19 रोगियों के चल रहे उपचार पर गंभीर प्रभाव पड़ेगा. केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय और संबंधित अन्य अधिकारियों के साथ इस मुद्दे को उठाना आवश्यक है.’’

उन्होंने कहा कि राज्य सरकार कोरोना वायरस के गंभीर रोगियों के उपचार में इस्तेमाल होने वाली जीवनरक्षक गैस का उत्पादन बढ़ाने के लिए प्रेशर स्विंग एड्सॉर्पशन (पीएसए) चिकित्सकीय ऑक्सीजन संयंत्र स्थापित कर रही है. उन्होंने कहा, ‘‘वर्तमान समय में महाराष्ट्र 1,750 टन (चिकित्सकीय) ऑक्सीजन का इस्तेमाल कर रहा है. उन्होंने कहा कि राज्य के लिए आशा की एकमात्र किरण 28 पीएसए संयंत्रों की स्थापना है. उन्होंने कहा कि राज्य ने 150 पीएसए संयंत्रों के लिए आर्डर दिए हैं जो आने वाले दिनों में शुरू होंगे.


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