भारत-जापान का हिंद महासागर में संयुक्त युद्धाभ्यास
मुंबई : चीन अपने आक्रामक रवैये और विस्तारवादी नीतियों के कारण एशिया में घिरता जा रहा है। भारत और चीन के बीच लद्दाख में तनाव चरम पर है, वहीं पूर्वी चीन सागर में द्वीपों को लेकर ड्रैगन का जापान से भी विवाद है। इस बीच भारतीय और जापानी नौसेना ने हिंद महासागर में चीन के बढ़ते खतरों से निपटने के लिए संयुक्त युद्धाभ्यास किया है। इस युद्धाभ्यास का मेन मकसद चीन की पनडुब्बियों को बेदम करना है। चीन अपनी पनडुब्बियों और नौसेना का धौंस दक्षिण चीन सागर में देता रहता है।
जापानी नौसेना ने ट्वीट किया कि २७ जून को जापान मैरिटाइम सेल्फ डिफेंस फोर्स के जेएस काशिमा और जेएस शिमायुकी ने भारतीय नौसेना के आईएनएस राणा और आईएनएस कुलीश के साथ हिंद महासागर में एक अभ्यास किया। इसके जरिए जापान मैरिटाइम सेल्फ डिफेंस फोर्स ने भारतीय नौसेना के साथ अपने समझ और सहयोग को बढ़ाया। रिपोर्ट के अनुसार, जापानी विध्वंसक युद्धपोत कागा ने दक्षिणी जापान में ओकिनावा द्वीप के पास २४ समुद्री मील के भीतर एक चीनी पनडुब्बी का पता लगाया, जिसके बाद हरकत में आई जापानी नौसेना ने अपने पेट्रोलिंग एयरक्राफ्ट की मदद से चीनी पनडुब्बी को अपने जलक्षेत्र से बाहर खदेड़ दिया। बता दें कि २०१८ में भी जापान ने अपनी जलसीमा में एक चीनी पनडुब्बी को पकड़ा था। चीन और जापान में पूर्वी चीन सागर में स्थित द्वीपों को लेकर आपस में विवाद है। दोनों देश इन निर्जन द्वीपों पर अपना दावा करते हैं, जिन्हें जापान में सेनकाकु और चीन में डियाओस के नाम से जाना जाता है। इन द्वीपों का प्रशासन १९७२ से जापान के हाथों में है। वहीं, चीन का दावा है कि ये द्वीप उसके अधिकार क्षेत्र में आते हैं और जापान को अपना दावा छोड़ देना चाहिए। इतना ही नहीं चीन की कम्युनिस्ट पार्टी तो इसपर कब्जे के लिए सैन्य कार्रवाई तक की धमकी दे चुकी है।